Breaking News
rajeev

जनहितैषी नीतियों के कारण कोरोना संकट काल में भी अर्थव्यवस्था बनी रही गतिशील : मुख्यमंत्री बघेल

 

-राजीव गांधी किसान न्याय योजना की तीसरी किश्त किसानों को राज्य स्थापना दिवस पर

-देश-दुनिया ने छत्तीसगढ़ की गोधन न्याय योजना को सराहा

-कोण्डागांव जिले में स्वरोजगार को बढ़ावा देने कई अभिनव कार्यक्रम शुरू

rajeev

रायपुर (जनसम्पर्क विभाग) । मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने कहा है कि छत्तीसगढ़ सरकार कोरोना संकट के समय में गरीबों किसानों, आदिवासियों, मजदूरों के साथ मजबूती से खड़ी है। उन्होंने कहा कि संकट के समय में देश-दुनिया में लोगों को आर्थिक कठिनाईयों का सामना करना पड़ा, लेकिन छत्तीसगढ़ इससे अछूता रहा है। मुख्यमंत्री श्री बघेल आज अपने निवास कार्यालय से वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए से कोण्डागांव में लोकार्पण और शिलान्यास समारोह को सम्बोधित कर रहे थे। मुख्यमंत्री ने इस मौके पर कोण्डागांव जिले को विकास एवं निर्माण कार्याें के लिए लगभग 300 करोड़ रूपए की सौगात दी, जिसमें 155 करोड़ रूपए की लागत वाले 25 कार्यों का लोकार्पण तथा 145 करोड़ रूपए की लागत के विकास कार्याें का शिलान्यास शामिल है। मुख्यमंत्री ने कई अभिनव कार्यक्रमों का शुभारंभ भी किया।

मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल ने कहा कि प्रदेश सरकार की जनहितैषी नीतियों और कार्यक्रमों की वजह से कोरोना संकट काल में भी राज्य की अर्थव्यवस्था गतिशील बनी रही है। इस मौके पर उन्होंने प्रदेश सरकार की कई जनहितैषी कार्यक्रमों का उल्लेख करते हुए कहा कि राज्य में किसानों को उनकी उपज का वाजिब मूल्य दिलाने तथा फसल उत्पादकता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से शुरू की गई राजीव गांधी किसान न्याय योजना की तीसरी किश्त की राशि किसान भाईयों को राज्य स्थापना दिवस एक नवम्बर को दी जाएगी। मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों की कर्जमाफी, धान खरीदी, गोधन न्याय योजना, लघु वनोपजों का संग्रहण एवं समर्थन मूल्य पर खरीदी तथा मनरेगा के माध्यम से नियमित रूप से ग्रामीणों को रोजगार एवं आय का साधन उपलब्ध कराकर प्रदेश सरकार ने लोगों को आर्थिक संबल प्रदान किया है।

मुख्यमंत्री ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से कोण्डागांव जिले में 300 करोड़ की लागत वाले 49 कार्याें का लोकार्पण एवं शिलान्यास किया, इसमें मुख्य रूप से मां दंतेश्वरी मक्का प्रसंस्करण इकाई की स्थापना, महा नरियर अभियान, टाटामारी पर्यटन केन्द्र, फूलों की घाटी केशकाल, मारी क्षेत्र आजीविका विकास परियोजना, उड़ान आजीविका केन्द और संवेदना कार्यक्रम लीमदरहा मिडवे, जिला लाईब्रेरी एवं अध्ययन केन्द्र, बस स्टैण्ड कोण्डागांव, कोसार टेडा जल आवर्धन योजना का निर्माण शामिल है। कार्यक्रम की अध्यक्षता विधायक श्री मोहन मरकाम ने की।

मुख्यमंत्री ने कहा कि गौ-माता के संरक्षण एवं संवर्धन तथा गौपालकों को आय का अतिरिक्त जरिया उपलब्ध कराने के उददेश्य से छत्तीसगढ़ राज्य में संचालित की जा रही गोधन न्याय योजना अपने आप में अनूठी है। इस योजना को देश-दुनिया में लोगों ने सराहा है। उन्होंने कहा कि इसके जरिए गौ-पालकों एवं ग्रामीणों को गौठानों में गोबर विक्रय के एवज में अब तक 21 करोड रूपए की राशि का भुगतान किया गया है। मुख्यमंत्री ने सुराजी गांव योजना के तहत गांव-गांव में निर्मित एवं संचालित हो रहे गौठानों को ग्रामीणों की आजीविका का केन्द्र बनाने के अपने संकल्प को दोहराते हुए कहा कि राज्य के 50 फीसद से अधिक ग्राम पंचायतों में गौठानों का निर्माण हो चुका है। शतप्रतिशत ग्राम पंचायतों में गौठानों का निर्माण एवं गोधन न्याय योजना के जरिए गोबर की खरीदी तथा अन्य आय मूलक गतिविधियों का गौठानों में संचालन हमारा लक्ष्य है। गौठानों को हम स्वरोजगार एवं आजीविका के केन्द्र के रूप विकसित कर रहे हैं।

कार्यक्रम को कोण्डागांव जिले के प्रभारी मंत्री गुरू रूद्रकुमार, नगरीय प्रशासन मंत्री डॉ. शिव कुमार डहरिया, राज्य सभा सांसद श्रीमती फूलोदेवी नेताम, विधायक, छत्तीसगढ़ राज्य हस्तशिल्प विकास बोर्ड के अध्यक्ष श्री चंदन कश्यप और विधायक श्री संतराम नेताम ने भी सम्बोधित करते हुए बस्तर अंचल के विकास के लिए मुख्यमंत्री श्री भूपेश बघेल के नेतृत्व में हो रहे विकास कार्यों की सराहना की और इस मौके पर कोण्डागांव सहित बस्तर अंचल के लोगों को बधाई और शुभकामनाएं दी। लोकार्पण एवं शिलान्यास के वर्चुवल कार्यक्रम में अनेक जनप्रतिनिधि और पंचायती राज संस्थाओं के प्रतिनिधि उपस्थित थे।

Check Also

Monumentos incomuns e edifícios antigos

Nosso estado, como todos os países do planeta, é único em seus monumentos e estruturas …

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *