देहरादून (संवाददाता)। निजी स्कूलों में हर साल हो रही फीस वृद्धि के खिलाफ उत्तराखंड महिला मंच ने मोर्चा खोला है। मंच ने शुक्रवार को इसके खिलाफ कचहरी परिसर में जमकर प्रदर्शन किया। महिलाओं ने डीएम को ज्ञापन सौंप कर निजी स्कूलों की मनमानियों पर रोक लगाने की मांग की। शुक्रवार को भारी संख्या में उत्तराखंड महिला मंच से जुड़ी महिलाएं डीम दफ्तर पहुंची। डीएम के वीडिया कांफ्रेंसिग हॉल में चल रही मीटिंग में व्यस्त होने के कारण महिलाओं को डीएम से मिलने के लिए लंबा इंतजार करना पड़ा। वहीं महिलाएं में पूर्व सूचना के बावजूद डीएम की ओर से समय न दिए जाने आक्रोशित नजर आई। रोष में आकर महिलाओं ने कचहरी परिसर में स्थित कलैक्टर वीडिया कांफ्रेंसिग हॉल के बाहर ही विरोध जताना शुरु कर दिया। महिलाओं ने निजी स्कूल और सरकार के खिलाफ जमकर नारेबाजी कर निजी स्कूलों पर नकेल कसने की मांग की। महिला मंच की संयोजक निर्मला बिष्ट ने कहा कि सभी निजी स्कूलों की फीस सरकार तय करे, निजी स्कूलों में एनसीईआरटी की किताबें लागू हों, इनपर नकेल कसने के लिए जांच कमेटी गठित हो, अन्य क्रियाकलापों के नाम पर अतरिक्त फीस वसूली समेत निजी स्कूलों की अन्य मनमानियों पर रोक लगनी चाहिए। कहा कि निजी स्कूलों में शिक्षकों की भर्ती भी पात्रता परीक्षा के आधार पर ही होनी चाहिए। इसके अलावा हर साल लिए जाने वाले अतरिक्त शुल्कों पर रोक लगनी चाहिए। विभिन्न मांगों को लेकर महिला मंच ने लगभग आधा घंटा यहां विरोध प्रदर्शन किया। बाद में डीएम ने कांफ्रेस छोड़कर बाहर आकर महिलाओं की बात सुनी। डीएम ने अपने स्तर पर मामले में सकारात्मक कार्रवाई का आश्वासन दिया।
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