कानपुर (उत्तर प्रदेश)। कानपुर वासियों को जल्दी मेट्रो की सौगात मिलने वाली है. इसी कड़ी में कानपुर शहर में रविवार को पहली बार मेट्रो ट्रैक पर चलती दिखी. उत्तर प्रदेश मेट्रो रेल कार्पोरेशन ने कानपुर मेट्रो का पहली बार पॉलिटेक्निक डिपों से यूनिवर्सिटी तक ट्रायल रन किया गया. इस दौरान ५ किलोमीटर प्रति घंटे की रफ्तार से टेस्टिंग की गई. मेट्रो रेल कार्पोरेशन के मुताबिक नवंबर माह से आईआईटी से मोतीझील के बीच मेट्रो चलाई जानी है. हालांकि, आधिकारिक तौर पर ये जानकारी नहीं दी गई कि कितने महीनों में कानपुर के लोग मेट्रो में सफर कर सकेंगे. वहीं, सफल ट्रायल को लेकर कानपुर के रहने वाले लोग काफी खुश हैं. कानपुर में पहली मेट्रो के बारे में अनुमान है कि ये नवंबर २०२२ तक आईआईटी से मोतीझील के बीच चल सकती है।
बता दें कि कानपुर मेट्रो परियोजाना का शिलान्यास 6 मार्च, 2019 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और यूपी के सीएम योगी आदित्यानाथ और तत्कालीन हरदीप सिंह पुरी, केंद्रीय मंत्री (स्वतंत्र प्रभार), आवास और केंद्रीय मंत्री हरदीप सिंह पुरी की मौजूदगी में हुआ था. मेट्रो से कानपुर वासियों के लिए सबसे राहत ये होगी कि उन्हें जाम से निजात मिलेगी. दरअसल, कानपुर के मेट्रो स्टेशन के बाहरी हिस्से को विशेष थीम के आधार पर डिजाइन किया गया है. जिसमें उस स्टेशन के आस-पास की ऐतिहासिक धरोहरों को दर्शाया गया है. जिसके जरिए लोगों को आसानी से यह पता चल सकेगा कि किस क्षेत्र में कौन सी ऐतिहासिक धरोहर मौजूद है।
बाहर से आने वाले लोगों के लिए भी काफी मददगार साबित होगा.जैसे आईआईटी मेट्रो स्टेशन के बाहरी हिस्से की थीम विज्ञान पर आधारित है. वहीं, सीएसजेएम विश्वविद्यालय स्टेशन की टीम को एजुकेशनल रखा गया है. इसके इसके अलावा कल्याणपुर मेट्रो स्टेशन में बिठूर के घाटों को दिखाया गया है. उत्तर प्रदेश मेट्रो रेल कारपोरेशन की ओर से उठाया गया यह कदम ऐतिहासिक धरोहरों के इतिहास को लोगों तक पहुंचाने के लिए काफी कारगर साबित होगा।
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